नई दिल्ली। धर्मयात्रा महासंघ के बैनर तले दिल्ली की कई छठ पूजा समितियों ने दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल से दिल्ली में छठ पूजा से प्रतिबंध हटाने की मांग की है। अपनी मांग को लेकर रविवार को पूर्वांचल समाज के लोग दिल्ली के जंतर- मंतर पर बड़ी संख्या में पहुंच कर सरकार के फैसले पर नाराजगी जताई। केजरीवाल सरकार की ओर से इस मामले पर सकारात्मक सहयोग नहीं मिलता देख पूर्वांचल समाज के प्रतिनिधियों ने आज दिल्ली के राज्यपाल से मिलने का फैसला किया है।
पूर्वांचल जागृति मंच ( पूर्वी दिल्ली मयूर विहार) के अध्यक्ष मिथिलेश कुमार ने बताया कि दिल्ली में सामूहिक छठ पूजा पर से प्रतिबंध हटाने के लिए सोमवार को उपराज्यपाल के निवास, सिविल लाइन जाकर उन्हें ज्ञापन दिया जाएगा।
उन्होंने बताया कि जब तक छठ पर फैसला नहीं हो जाता तब तक साथ ही साथ सामूहिक भूख हड़ताल पर बैठने जा रही है। इस संघर्ष में हमारे साथ पश्चिमी दिल्ली के पूर्व सांसद महाबल मिश्रा जी भी पहुंच रहे हैं।
इसके साथ ही उन्होंने दिल्ली के सभी सभी वर्तमान एवं पूर्व में रहे पूर्वांचली सांसदों, विधायकों, निगम पार्षदों एवं विभिन्न पार्टियों में राजनीति कर रहे पूर्वांचली नेताओं से तथा दिल्ली में छठ पूजा करने वाली संस्थाएं एवं पूर्वांचल से संबंधित संस्थाओं से अनुरोध किया कि इस संघर्ष में साथ दें एवं छठ पूजा दिल्ली में मनाने हेतु इस मुहिम में आगे आए।
दिल्ली में कोरोना के भयानक रूप को देखते हुए दिल्ली सरकार ने यमुना नदी सहित सभी सार्वजनिक जगहों और मंदिरों में छठ पूजा करने पर रोक लगा दी है।
इसके पहले, धर्मयात्रा महासंघ के दिल्ली प्रदेश महामंत्री संजीव शर्मा ने मुख्यमंत्री से अनुरोध करते हुए कहा कि छठ पूजा में चार दिन शेष हैं, सरकार को लाखों लोगों की धार्मिक भावनाओं को ध्यान में रखते हुए छठ पूजा से प्रतिबंध हटाने का आदेश देते हुए दिल्ली में छठ घाट व नहर आदि की साफ- सफाई का आदेश देना चाहिए।
छठ पर्व धार्मिक भावना नहीं बल्कि साफ-सफाई व स्वाच्छता का संदेश देने वाला पर्व है। शर्मा ने कहा कि दिल्ली में मॉल, मार्किट, बसें, साप्ताहिक बाजार असंख्य लोगों के साथ चल रहे हैं। तो ऐसे में आस्था के बड़े पर्व पर लगा प्रतिबंध भी हटना चाहिए क्योंकि इससे पूर्वांचल के लोगों की धार्मिक भावनाएं जुड़ी हुई हैं। इसके अलावा, जंतर मंतर पर रविवार को जनता दल युनाइटेड और गैर राजनीतिक संगठनों ने भी छठ पर रोक हटाने की मांग को लेकर धरना प्रदर्शन किया।